जो लोग शेयर बाजार की समझ ना रखते हो उनके लिए म्युचुअल फंड में निवेश करना अच्छा विकल्प होता हैं। म्युचुअल फंड ने बीते कुछ सालों में काफी अच्छा रिटर्न दिया हैं। जिसके कारण आजकल म्युचुअल फंड में निवेश करने वालो की तादाद काफी बढ़ी हैं। म्युचुअल फंड में निवेश, लंबी अवधि के लिए या फिर छोटी अवधि के लिए भी किया जा सकता हैं।
समझने की बात यह है कि आखिर म्युचुअल फंड में लाॅन्ग टर्म में ज्यादा फायदा मिलेगा या शाॅर्ट टर्म में। इसके लिए हम आपको म्युचुअल फंड का गणित बताने वाले हैं। जिससे आप समझ जाएंगे कि आपको छोटी अवधि के लिए निवेश करना हैं या फिर लंबी अवधि के लिए जाना हैं।
म्युचुअल फंड निवेश, शाॅर्ट टर्म Vs लाॅन्ग टर्म
मानकर चलिए आपने किसी म्युचुअल फंड स्कीम में एसआईपी के जरिए निवेश शुरू किया हैं। आप हर माह 10,000 रूपए की एसआईपी करते हैं, और एसआईपी अगले 10 साल तक चालू रखते हैं।
यह भी मान लेते हैं कि आपने जिस फंड स्कीम में निवेश किया हैं, उसने सालाना 20 फीसदी रिटर्न दिया हैं।
10 साल बाद आपके द्वारा निवेश किये गए फंड की वैल्यू तकरीबन 34,52,505 रूपए होगी। इन दस सालों में अपने 12 लाख रूपए जमा किए जबकि रिटर्न के रूप में आपको 22,52,505 रूपए मिले। इसमें आपको कुल मिलाकर करीब 187 फीसदी रिटर्न मिला है। अभी आप इस रिटर्न से संतुष्ट हो सकते हैं मगर जो हम आपको आगे बताने वाले हैं शायद आप उसके बारे में अभी अंजान हों।
यदि आप इसी निवेश को अगले 10 साल और यानी कि कुल मिलाकर 20 साल के लिए चालू रखते हैं, और स्कीम में रिटर्न भी सालाना 20 फीसदी ही मिलता हैं। तो 20 साल बाद आपकी जमा रकम की वैल्यू 2,48,29,516 रूपए होगी। मतलब लगभग 2.5 करोड़ रुपए। इस दौरान आपके द्वारा 24 लाख रुपए जमा किए गये, जबकि 2,24,29,516 रूपए रिटर्न के रूप में मिलेंगे। इस दौरान आपको करीब 934 फीसदी रिटर्न मिलेगा।
इस तरह से पहले 10 सालों में आपको केवल 22,52,505 रूपए रिटर्न के रूप में मिले जबकि अगले 10 सालों (कुल 20 सालों में) में आपको 2,24,29,516 मिले। जो पहले 10 साल के रिटर्न की तुलना में 2,01,77,011 रूपए अधिक हैं। अब आप समझ गए होंगे कि लाॅन्ग टर्म निवेश व शाॅर्ट टर्म निवेश में कितना अंतर होता हैं।
बहुत से लोग निवेश तो शुरू कर देते हैं मगर वो ज्यादा लंबी अवधि के लिए निवेश को कायम नहीं रख पाते हैं। क्योंकि वे निवेश के गणित को अच्छी तरह समझ नहीं पाते हैं या फिर किसी अन्य वजह से अपने निवेश को वापिस लें लेते हैं।
यदि आपको किसी विशेष आवश्यकता नहीं हैं तो आपको निवेश जारी रखना चाहिए क्योकि लंबे समय में काफी ज्यादा रिटर्न मिलने की संभावना रहती हैं बसर्ते बाजार की स्थिति अनुकूल रहें।
म्युचुअल फंड में निवेश करना बाजार जोखिमों के अधीन हैं। निवेश से पहले विशेषज्ञों की सलाह जरूर लें।
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